आइना चटक के टूट गया
यार मिला, फिर रूठ गया
केहनेको बातें बोहत थीं उनसे
देखनेमें केहना, सब छूट गया
दिल आबाद था यादोंसे जिसकी
आकर जागीर, सारी लूट गया
बड़े घरके बेटोंमें छिड़ा झगड़ा
कांचसा दिल, माँका फूट गया
मुसीबतके वक़्त गायब थे दोस्त
दावोंका उनके, पकड़ा झूट गया
Comments
Post a Comment